अनिरुद्ध का युद्ध से भाग कर आना,जब यह बात रानी सारंधा को पता चली कि उसका भाई युद्ध से भाग कर आया है तब उसे बहुत क्रोध आया और उसने अनिरुद्ध से कहा कि भाई तुमने अपने कुल पर दाग लगा दिया है हमारे कुल मे पहले ऐसा कभी नहीं हुआ, यह सुनकर अनिरुद्ध की आत्मा जाग गई और फिर वह वापस उस युद्ध में चला गया अनिरुद्ध के जाते ही शीतला और रानी सारंधा के बीच वाद विवाद होता है रानी सारंधा का शीतला को वचन देना कि यदि उसका पति कभी ऐसा करता है तो वह उसके पति के छाती पर छुरा भोंक देगी इस दिन का वाद विवाद दोनों रानियों के हृदय में घर कर जाता है और साल के भीतर ही रानी सारंगा की शादी ओरछा के राजा चंपत राय से हो जाती है और अनिरुद्ध भी मैं रोने का युद्ध विजय प्राप्त करके लौट आता है।