कई बार घरेलू हिंसा पीड़ित को पता ही नहीं होता कि वो घरेलू हिंसा का शिकार है, उसे ये सब सामान्य / NORMAL लगता है... याद रखें कि सिर्फ़ मौखिक, यौन या शारीरिक हिंसा ही घरेलू हिंसा नहीं होती है ?
महिलाओं पर होनेवाली घरेलू हिंसा को बढ़ावा देने में काफ़ी हद तक इस मूक वा बधिर समाज का भी हाथ है ... आप जैसे प्रबुद्ध लोग अगर किसी के ऐसे नि:स्वार्थ प्रयासों को प्रोत्साहित नहीं कर सकते हैं तो लानत है आपके समाज का महत्वपूर्ण हिस्सा होने पर ...
आपका सहयोग अपेक्षित है साथियों, क्योंकि आपका छोटा सा भी सहयोग किसी को घरेलू हिंसा के भयानक नर्क वा आजीवन प्रताड़ना से बचा सकता .... #alwaysvikas